हरेला मनाएं
आओ भाई आओ बहिनों हरेला मनाएंगे ।
देव भूमि की परम्परा को आगे हम बढ़ाएँगे।।
स्वच्छ माटी ,स्वच्छ जल, स्वच्छ टोकरी लाएं।
सात प्रकार के नाजों को तिलक लगा कर बोएं ।।
नौ दिन तक मन्दिर में रखकर दसवें दिन हम काटेंगे ।
प्रथम इष्ट को प्रसाद चढ़ा कर,फिर सबको हम बाँटेंगे ।।
माँ हरियाली के आशीष से सबके जीवन महकेंगे।
सुख, समृध्दि और खुशहाली ,देश भर में फैलायेंगे ।।
आओ भाई आओ बहिनो हरेला हम मनाएंगे ।।
हरियाली के साथ साथ वृक्षारोपण भी करेंगे ।
हर व्यक्ति से एक एक पौधा, आस पास लगवाएंगे ।।
पेड़ो से ही हवा ,पानी और भोजन भी मिलता है।
बिन पेड़ो के कभी न मित्रों जीवन अपना खिलता है ।।
प्रदूषण रूपी राक्षस को मिलकर हम भगायेंगे।
आओ भाई आओ बहिनों हरेला हम मनाएंगे ।।
मिट्टी के कटान को रोकें, वर्षा भी पेड़ ही लाएंगे।
हरे भरे होँगे वन, खेत फसलों से लहलहाएंगे ।।
भू स्खलन जैसी आपदा को देव भूमि से मिटायेंगे।
आओ भाई आओ बहिनो हरेला हम मनाएंगे ।
उत्तराखंड की परम्परा को आगे हम बढ़ाएंगे । । ।
(अंजना जुयाल )
रा 0प्रा0वि राधावल्लभ पुरम पौड़ी
मोबाइल नंबर -9411737559