कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने शनिवार को अलहदा अंदाज में रायता पार्टी दी। कोरोना के दौरान सोशल डिस्टन्सिंग का पालन करते हुए उन्होंने अपने आवास पर भीड़ जुटाने के बजाय सियासतदां और नौकरशाहों के साथ शहर के गणमान्य लोगों को उत्तराखंडी रायता भिजवाया। हरदा की ओर से भिजवाया गया रायता मिलने पर मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत चुटकी लेने से नहीं चूके। उन्होंने कहा कि रायता उन्हें मिल गया है, लेकिन वह इसे संभालकर रखेंगे, फैलाएंगे नहीं।
पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत कभी आम, कभी खीरा-ककड़ी-भुट्टों की दावत और कभी काफल पार्टी देकर अपने समर्थकों को लुभाने और विरोधियों को चौंकाने का मौका नहीं छोड़ते। लॉकडाउन के दौरान लंबे समय तक दिल्ली में रहने को मजबूर रहे हरीश रावत अब फिर विभिन्न मोर्चों पर सक्रियता बनाए हुए हैं। उत्तराखंड के सरोकारों और उत्पादों को लेकर चुटीले अंदाज में छेड़ी गई उनकी मुहिम के मुरीद उनके धुर सियासी विरोधी भी रहे हैं।
शनिवार को हरदा ने हरेला पर्व के उपलक्ष्य में पहाड़ में उत्पादित ककड़ी से तैयार रायते की दावत दी। इस सिलसिले में अपने राजपुर स्थित आवास पर उन्होंने चुनिंदा लोगों को ही आमंत्रित किया। उन्होंने मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत, राज्यपाल बेबी रानी मौर्य, स्पीकर प्रेमचंद अग्रवाल, बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रीतम सिंह, मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह, पुलिस महानिदेशक अनिल रतूड़ी को भी श्रावण संक्रांति व हरेला पर्व की शुभकामनाएं देते हुए रायता भिजवाया।