पौड़ी। अन्तरराष्ट्रीय मातृ भाषा दिवस पर मंगलवार को उत्तराखण्ड से हिन्दी अध्यापक के पद पर कार्यरत अखिलेश चन्द्र चमोला भाषा गौरव सम्मान से सम्मानित हुए, इन्हें यह सम्मान अन्तरराष्ट्रीय स्तर पर प्राप्त हुआ।
बता दें कि इन्हें यह सम्मान विलक्षणा एक सार्थक पहल समिति रोहतक द्वारा भव्य आयोजित अन्तरराष्ट्रीय कार्यक्रम में दिया। संस्था के महासचिव डॉ0 विकास शर्मा ने श्री चमोला को भाषा गौरव सम्मान से सम्मानित करते हुए कहा कि जीवन में प्रेरक प्रसंगों का बहुत महत्व है, ये हमारी धरोहर हैं। प्रेरक प्रसंगो को अपनी रचना धर्मिता के माध्यम से आम जनमानस तक पहुंचाना बहुत बड़ी उपलब्धि को दर्शाता है। अखिलेश चन्द्र चमोला इस तरह के शिक्षक व साहित्यकार हैं जो कई वर्षों से प्रेरक प्रसंगों पर कार्य कर रहे हैं।वर्तमान समय में जिस तरह से नैतिक मूल्यों का ह्रास हो रहा है, उस परिप्रेक्ष्य में इन प्रसंगों के माध्यम से नैतिक मूल्यों की स्थापना की जा सकती है। साहित्य सृजन के साथ ही हमारा संकल्प नशा मुक्त खुशहाल भारत वर्ष, शैक्षिक नवाचार, पर्यावरण, समाज सेवा, ग्रामीण आन्चलिक में अध्ययन रत छात्र छात्राओं को प्रोत्साहित करना,बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ आदि अतुलनीय गतिविधियां भी सम्पादित की जाती है। अपने अध्यापन कार्य के साथ-साथ इस तरह की प्रेरणा दायिनी गतिविधियों का आयोजन करना महत्वपूर्ण मुहिम को उजागर करता है। श्री चमोला के इन महत्वपूर्ण कार्यों को राष्ट्रीय तथा अन्तरराष्ट्रीय स्तर पर रेखांकित किया जा रहा है। यह हम सभी भारत वासियों के लिए गर्व की बात है। विदित हों कि अभी हाल ही में मध्य प्रदेश की राष्ट्रीय हिन्दी प्रचारिणी सभा ने श्री चमोला के रचनात्मक कार्यों को देखते हुए राष्ट्रीय हिन्दी प्रचारिणी सभा के राष्ट्रीय संयोजक के मानद पदवी से विभूषित किया। 200 से भी अधिक राष्ट्रीय सम्मानोपाधियों से इन्हें अलंकृत किया गया है।
अखिलेश चन्द्र चमोला हुए मातृ भाषा दिवस पर सम्मानित

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